मुंबई शहरहोम

7 साल के बच्चे को ट्यूशन टीचर ने बेरहमी से पीटा, मोमबत्ती से जलाए हाथ

केवल खराब लिखावट पर

केवल खराब लिखावट पर 7 साल के बच्चे को ट्यूशन टीचर ने बेरहमी से पीटा, मोमबत्ती से जलाए हाथ

मुंबई: देश की आर्थिक राजधानी मुंबई से एक और रूह कंपा देने वाली घटना सामने आई है, जिसने शहर के शिक्षा तंत्र और बच्चों की सुरक्षा को लेकर कई गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। मलाड (पूर्व) के कुरार विलेज स्थित एक पॉश इमारत में चल रहे निजी ट्यूशन क्लास में एक 7 वर्षीय मासूम छात्र को केवल इस वजह से क्रूरता का शिकार होना पड़ा क्योंकि उसकी लिखावट साफ नहीं थी।

टीचर ने पहले पीटा, फिर जलाया मासूम के हाथ पीड़ित बच्चे के परिजनों के अनुसार, आरोपी महिला ट्यूशन टीचर ने न केवल छात्र को डंडे और हाथों से बुरी तरह पीटा, बल्कि उसे मोमबत्ती से जलाकर शारीरिक रूप से भी प्रताड़ित किया। बच्चा जब दर्द से कराहता हुआ घर पहुंचा तो परिजन भी उसकी हालत देखकर सन्न रह गए। बच्चे के हाथों पर जलने के ताज़ा निशान थे, और वह मानसिक रूप से बेहद डरा हुआ था।

पढ़ाई के नाम पर आतंक का केंद्र बना क्लासरूम  यह घटना मुंबई के मलाड (पूर्व) के कुरार विलेज क्षेत्र की एक बहुमंजिला इमारत में हुई, जहाँ आरोपी महिला निजी ट्यूशन चलाती है। वह इलाके में एक सख़्त और अनुशासनप्रिय शिक्षिका के तौर पर जानी जाती थी, लेकिन इस हद तक क्रूरता दिखाएगी, किसी ने सोचा भी नहीं था।

बच्चे के बयान से खुला राज  :  बच्चे ने घर आकर अपनी मां को बताया कि उसकी “लिखावट गंदी” होने के कारण टीचर गुस्से में आ गई और पहले उसकी पिटाई की, फिर मोमबत्ती जलाकर उसके हाथों पर जबरन पकड़ा दिया। इससे मासूम को जलन और छाले हो गए। डर के मारे वह पहले कुछ नहीं बोल पाया, लेकिन जब दर्द असहनीय हो गया तो उसने रोते-रोते सारी बात बताई।

पुलिस ने दर्ज की एफआईआर, टीचर हिरासत में पीड़िता के माता-पिता ने तुरंत कुरार पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज करवाई। पुलिस ने भारतीय दंड संहिता की धारा 323 (मारपीट), 324 (जानबूझकर किसी वस्तु से चोट पहुँचाना), और जेजे एक्ट (बाल सुरक्षा अधिनियम) के तहत मामला दर्ज कर लिया है। आरोपी टीचर को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है और मामले की आगे की जांच जारी है।

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